फंड ‘अनलॉकिंग’ रिपोर्टः झारखंड के पास 8600 करोड़ रुपये नियुक्ति से संबंधित लक्ष्मीकांत गुइन की याचिका पर सुनवाई करते हुए कोर्ट ने यह आदेश दिया है. अदालत ने कहा कि सुनवाई के दौरान कई मामलों में यह सामने आया है कि सरकार स्वीकृत पदों के खिलाफ लगातार आउटसोर्स पर नियुक्ति कर रही है. प्रथम दृष्टया ऐसी नियुक्तियां अवैध हैं. स्वीकृत रिक्त पदों पर जिनकी नियुक्ति की जा रही है उनकी नियोक्ता सरकार नहीं रहती है. किसी प्रकार की गड़बड़ी होने पर सरकार ऐसे कर्मचारियों के खिलाफ कार्रवाई नहीं कर सकती. क्योंकि दोनों के बीच नियोक्ता और कर्मचाारी का संबंध नहीं होता. ऐसे कर्मचारियों पर किसी प्रकार का नियंत्रण भी नहीं रहता. ऐसे में स्वीकृत पदों पर आउटसोर्स से नियुक्ति को वैध नहीं माना जा सकता. अदालत ने इस मामले में सहयोग करने के लिए अधिवक्ता मनोज टंडन, इंद्रजीत सिन्हा और सुमीत गाड़ोदिया को एमेकस क्यूरी (न्याय मित्र) नियुक्त किया. इसे भी पढ़ें- शाम">https://lagatar.in/evening-news-diary-22-sept-2022-news-updates/">शाम
की न्यूज डायरी।।22 SEP।।शहीद जवान को नमन।।बाबूलाल के दल-बदल पर HC में बहस।।खतरे में नौनिहालों की जान।।नीतीश को शिवानंद की सलाह।।PFI पर NIA,ED का शिकंजा।।समेत कई खबरें और वीडियो।।